निगाहें अर्जुन की तरह अपने लक्ष्य पर रखें : मधु लता खन्ना

 

जिंदगी की शुरूआत करने की कोई उम्र नहीं होती और कोई पहल नहीं होती जब खड़े हों तभी निकल पड़े मुकाम की तरफ ऐसा ही साबित कर दिखाया है ज्वैलरी डिजाइनर और एमेजिंग कलेक्शन की आॅनर मधु लता खन्ना ने। जी हाँ हम बात कर रहे हैं मधु लता खन्ना की जिन्होंने बहुत कम लागत से शुरू किये काम को आज बड़ा मुकाम दे डाला है अपनी मेहनत और लग्न से। इन्होंने बहुत ही कम समय में अपना एक बड़ा मुकाम बनाया है कहीं भी ये जायें तो लोग इन्हें पहचानते हैं इनके काम से। आपकी सेहत के संपादक तरूण कुमार से हुई बातचीत के प्रस्तुत हैं कुछ खास अंश :-

 

मधु लता खन्ना जी आपने कैरियर की शुरूआत कहां से की?

अपने कैरियर की शुरूआत मैंने 2007 से आर्टिफिशियल ज्वैलरी और लाफिस पर्स की शॉप  की शुरूआत  बहुत कम पैसे लगाकर क्रासरिवर मॉल के सैकेण्ड फ्लोर से की। अपने पर भरोसा करते हुए मैंने मार्केट और लोगों की पहुंच से अलग डिजाइन के चुनिंदा पीस बनवायें ताकि हमारे पास ही वो डिजाइन के पीस मिल सकें, इसी तरह से शुरूआत हुआ मेरा सफर।

 


 मधु लता खन्ना जी आपकी प्राथमिक शिक्षा कहां से हुई और जीवन के किस मोड़ पर अपने जीवन का लक्ष्य तय किया?

मेरी प्राथमिक शिक्षा ईस्ट दिल्ली के शाहदरा से हुई, बारहवीं कक्षा पास करने के बाद मैंने सोचा कि मुझे कुछ प्रोफेशन क्वालिफिकेशन भी करनी चाहिये, सिर्फ ग्रेजुएशन ही काफी नहीं होगी। इसके लिए मैंने आईटीआई में एडमिशन लिया जहां मैंने हिन्दी स्टेनोग्राफी, इंग्लिश स्टेनोग्राफी और कटिंग टैलरिंग के डिप्लोमा बहुत अव्वल नम्बरों के साथ उत्तीर्ण थी। मैंने 10 साल सर्विस भी की पर्सनल डिपार्टमेंट में, लेकिन मेरी सेहत ने मुझे ज्यादा सपोर्ट नहीं दिया, मुझे अर्थराटिस हो गया था जिसकी वजह से मैंने अपनी सर्विस छोड़ दी। 14 साल के अंतराल के बाद मैंने ज्वैलरी डिजाइनिंग पर ध्यान देना शुरू किया और उसमें अपनी एक्टिविटी बढ़ाती चली गयी। कालेग्राम और कोलकाता से अपने हिसाब की ज्वैलरी बनवाना शुरू किया। असली ज्वैलरी की कॉपी करानी शुरू की जिससे लोगों ने मेरे प्रोडक्ट और मुझे पहचानना शुरू कर दिया। 

 

मधु लता खन्ना जी आपकी सफलता और आज आप जिस मुकाम पर हैं उसने पाने के लिए आपने क्या किया और उसमें मुख्य भूमिका किसकी रही?

मेरी सफलता के पीछे मुख्य भूमिका मेरे हसबैंड  और मेरे दो यंग बेटों की की रही जिन्होंने मेरा सहयोग दिया और साहस बढ़ाया और मुझे प्रोत्साहित किया कि तुम जो भी करोगी, अच्छा ही करोगी, वे हर जगह मेरे साथ खड़े रहे। कहते हैं कि आजकल कुछ लोग न्यूक्लियर फैमिली  पसंद करते हैं लेकिन मैं यही कहूँगी जो बात सबके साथ रहने में है वो अकेलेपन में नहीं। मैं अपना घर अपनी  मदर की लॉ को सौंपकर 10-15 दिनों तक कोलकाता, मुम्बई और जयपुर जैसे महानगरों पर अपने स्पेशल पीस बनवाने चली जाती थी। दिल में ये शकून रहता है कि मेरे पीछे मेरी माँ ही मेरे घर और बच्चों को देखने के लिए। उनका नाम लेना मेरे लिए इतना ही जरूरी है जितना कि मेरे पति का। क्योंकि यदि बच्चों के साथ कोई ना हो तो कोई माँ नहीं जो काम कर सके, और यहां तो उनकी अपनी दादी जिनका दोनों बच्चों को प्यार मिला और मैं बिना किसी संकोच के चली जाती थी अपने काम पर। 

 

 

मधु लता खन्ना जी आज आप जिस मुकाम पर हैं और आज लोग आपको जानते हैं यह देख कर आपको कैसा महसूस होता है?

आज मेरी एमेजिंग कलेक्शन नाम की मधु खन्ना के नाम से पहचान है, अभी मेरे सपना अधूरा है, मेरी और आगे बढ़ना चाहती हूँ और मेरे प्रयास जारी है। मुझे लोग बहुत पहचानते हैं जब खुद ही कुछ कस्टोमर आकर बोलते हैं कि आपकी ज्वैलरी की बहुत तारीफ सुनी है और किसी ने मेरा रिफ्रेंस दिया कि कुछ अलग चीज चाहिये तो एमेजिंग कलेक्शन क्रॉस रिवर मॉल जाओ। उस समय लगता है कि मेरी मेहनत सफल हो रही है, लेकिन और कोशिश कर रही हूँ कि और कुछ नया और पुराने से कुछ नया बनाकर लागों को दे पाऊँ। क्रियेविटी पर पूरा जोर है मेरा। 

मुझे लोग एक ज्वैलरी डिजाइनर के रूप में पहचानते हैं और बालाजी मीडिया ने भी मुझे गेस्ट आॅफ आॅनर के रूप में इनवाइट किया। गत 7 अप्रेल को एंटी करप्शन फाउंडेशन आॅफ इंडिया ने भी मुझे बहुत आॅनर दिया । मुझे रोज कोई ना कोई आॅफर रहती है पार्टी और इवेंट की लेकिन मेरा लक्ष्य मेरा अपनी ज्वैलरी को थोड़ा अलग मोड देने है इसीलिये में ज्यादातर अपने ही काम में व्यस्त रहती हूँ। 

 


आपके जीवन के रोल मॉडल कौन है तथा आप किस फिल्म स्टार की तरह बनना चाहती हैं?

मेरे जीवन के रोल मॉडल मेरे अपने फादर है जोकि टीचर थे और उन्होंने सिर्फ पढाई की, शिक्षा ही उपलब्ध नहीं करायी, उन्होंने जो शिक्षा हमें दी वो है संयम बरतने की, हालातों से जूझने की और कभी हिम्मत ना हारने की। मैं किसी भी सैलिब्रिटी जैसी नहीं बनना चाहती, मैं खुद को एक मुकाम देना चाहती हूँ कि लोग मुझे मेरे जाने के पश्चात भी याद रखें। 

 

मधु लता खन्ना जी जितनी भी कार्य किए हैं उनमें से आपके लिए सबसे बेस्ट और सबसे अच्छा कार्य और अनुभव कौन सा रहा?

मैं क्राइम कंट्रोल में वाइस प्रेसीडेंट (वूमेन सैल) हासिल कर चुकी हूँ और मेरे सामने जितनी भी लेडिज समस्यायें सामने आती हैं उनके निदान स्वयं सुलझाने की कोशिश करती हूँ और जिसमें मुझे सफलता भी हासिल हुई है। कई बिखरते परिवारों को जोड़ने में कामयाब भी रही। समाज सेवा में शुरू से ही रूचि रही है मेरी, यदि किसी जरूरत मंद को अपने सामर्थ्य के अनुसार काम दे सकूं, मुझे आत्मिक संतुष्टि मिलती है। 

 


मधु लता खन्ना जी आप आने वाली पीढ़ी को कोई ऐसा संदेश देना चाहेंगी जिनसे वह प्रेरित हो सके।

मैं आने वाली पीढ़ी को एक ही संदेश देना चाहूँगी कि आप अपना एक लक्ष्य बनायें और अपनी निगाहें अर्जुन की तरह अपने लक्ष्य पर रखें, अपने आप पर विश्वास कीजिये, कोई भी काम हो तो उसमें अपनी तरफ से 100 फीसदी दें, नि:संदेह सफलता अपने कदम चूमेंगी।